2019 में मोदी सरनेम पर टिप्पणी करना राहुल गांधी को इतना महंगा पड़ेगा ये खुद राहुल गांधी ने भी नही सोचा था।

2019 में मोदी सरनेम पर टिप्पणी करना राहुल गांधी को इतना महंगा पड़ेगा ये खुद राहुल गांधी ने भी नही सोचा था।

हिंदुस्तान तहलका / दीपा राणा

फरीदाबाद : गुजरात सूरत कोर्ट ने कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को उनकी कथित ‘मोदी सरनेम’ टिप्पणी को लेकर दायर आपराधिक मानहानि मामले में दोषी ठहराया है। इस मामले में कोर्ट ने राहुल गांधी को 2 साल की सजा का ऐलान किया है। जिसके बाद राहुल गांधी को जमानत भी मिल गई।

राहुल गांधी ने 2019 में कर्नाटक की रैली में मोदी सरनेम को लेकर टिप्पणी की थी। राहुल गांधी ने कहा था कि सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों।

दरअसल राहुल गांधी की इस टिप्पणी के बाद बीजेपी के विधायक और गुजरात के पूर्व मंत्री पूर्णेश मोदी ने शिकायत दर्ज कराई थी. 

सजा के बाद राहुल गांधी का

पहला ट्वीट सामने आया है 

'मेरा धर्म सत्य और अहिंसा पर आधारित है। सत्य मेरा भगवान है, अहिंसा उसे पाने का साधन'. 

इस कंप्लेंट केस में राहुल गांधी के खिलाफ IPC की धारा 499, 500 के तहत अपराध दर्ज किया गया था. बता दे इस मामले में वे आज तीसरी बार कोर्ट में पेश हुए हैं. वहीं मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट एचएच वर्मा की अदालत ने पिछले सप्ताह दोनों पक्षों की दलीलों की अंतिम सुनवाई की थी और फैसला सुनाने के लिए 23 मार्च की तारीख तय की थी.इसी बाबत आज सुनवाई के बाद कोर्ट ने राहुल गांधी को दोषी करार दे दिया है. 

वहीं कोर्ट से बाहर निकले वकील के मुताबिक, कोर्ट में जज ने राहुल को दोषी करार देते हुए पूछा था कि क्या वह कुछ कहना चाहते हैं? इस पर राहुल गांधी ने कहा कि वह भ्रष्टाचार के खिलाफ बोलते रहते हैं, लेकिन जानबूझकर ऐसा कुछ नहीं कहा था.वहीं उनके बचाव पक्ष के वकील ने कहा कि राहुल ने जो बात कही थी उससे किसी को हानि नहीं हुई है तो कम से कम सजा दी जाए. वहीं, अभियोग पक्ष के वकील ने कहा कि राहुल गांधी सांसद हैं. जो लोग कानून बनाते हैं वही तोड़ेंगे तो इसका समाज में क्या संदेश जाएगा. 

फिलहाल राहुल गांधी के सिर से  तत्काल गिरफ्तारी का खतरा टल गया है. स्थानीय कोर्ट के फैसले के खिलाफ अब राहुला गांधी बड़ी अदालत का रुख कर सकते हैं।राहुल गांधी की लोक सभा की सदस्यता भी खतरे में, छह साल तक नहीं लड़ सकेंगे चुनाव...