हिंदुस्तान तहलका /अनीश कौशिक
पानीपत – लोकतंत्र को मजबुत बनाने में अधिकारियों की अहम भूमिका होती है। अधिकारियों को इसके लिए अपने आप को पूरी तैयारी करना होगा। चुनाव पूरी पारदर्शिता व निष्पक्षता से कराना हम सब की जिम्मेदारी बनती है। चुनाव आयोग ने सभी अधिकारियों को गंभीरता पूर्वक कार्य करने के निर्देश दिये हैं। इस संदर्भ में अधिकारियों को दिये जा जा रहे प्रशिक्षण में दूसरे दिन जिला सचिवालय में सभी खंडों व उपमंडलों के तहसीलदारों को चुनाव कमिश्नर की प्रकिया के बारे में प्रशिक्षण देते हुए जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी गौरव कुमार ने कहा कि हमें चुनाव के लिए मानसिक रूप से पहले तैयार होना चाहिये। निष्पक्ष चुनाव के लिए हमें बहुत चुनाव की हैंड बुक का अध्ययन करना होगा। इनका अध्ययन अभी से करना होगा।
परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने बताया कि हमें प्लानिंग के तहत कार्य करना है। जिला का पॉलिटिकल प्रोफाइल बना कर कार्य करना है। जिले में कितने बूथ है कितने संवेदनशील, कितने अति संवेदनशील इनकी हमें जानकारी होना जरूरी है। कुल वोटर कितने हैं , वॉटर का अनुपात क्या है, इस पर ध्यान देना होगा। पोलिंग स्टेशन पर सुविधाएं क्या-क्या है उन पर ध्यान देने होगा। मूवमेंट प्लॉन बनाकर उस पर कार्य करना होगा।
जिला परिषद के कार्यकारी अधिकारी गौरव ने बताया कि प्रशिक्षण शिविर में अधिकारियों को बताया कि उन्हें यह भी जानना चाहिये की किसी गांव या अन्य स्थान पर गत चुनाव में चुनाव का बहिष्कार तो नहीं किया व अगर किया है तो उसके कारण क्या रहे थे। उन्हें चुनाव के दौरा फ्लाइंग स्कवैड, निगरानी टीम की भमिका के अलावा किन-किन धाराओं के तहत प्रत्याशी पर किन स्थितियों में मामला दर्ज किया जा सकता है पर भी प्रशिक्षित किया। उन्होंने चुनाव संंबंधित हैड बुक का अध्ययन करने का भी अधिकारियों को सुझाव दिया।
उन्हेंने सेंटर अधिकारी, परिजाइडिग अधिकारी की चुनाव में क्या भूमिका होता है,पोलिग पार्टी, रैडमाईजेशन, पीडब्ल्युडी वोटर क्या होता है इसकी क्या विशेषता होती है, टैंडर वोट क्या होता है, रिफयूज वोट क्या होता है। उन्होंने अधिकारियों को पिंक बुथ, मॉड्रन बुथ के बारे में भी विस्तार से बताया। प्रशिक्षण शिविर में तहसीलदार अजय सैनी, वीरेंद्र गिल, अनिल शर्मा आदि मौजूद रहे।