-प्रति अकाउंट 20 हजार तक वसूली
हिंदुस्तान तहलका / गीतिका
गुरुग्राम – हरियाणा के गुरुग्राम में साइबर क्राइम यूनिट (cyber crime unit) ने कोटेक महिंद्रा बैंक (Kotek Mahindra Bank) के तीन मैनेजर- असिस्टेंट मैनेजर एवं एक अन्य को गिरफ्तार किया है। इन पर बैंक में दो हजार खाते खोल कर साइबर क्राइम करने के आरोप हैं। सात महीने से इनका फ्रॉड चल रहा था। पुलिस अब इसकी जांच कर रही है कि खोले गए खातों का साइबर क्राइम में इस्तेमाल हुआ है या नहीं।
गुरुग्राम में साइबर क्राइम यूनिट के एसीपी प्रियांशु दीवान ने बताया कि 18 नवम्बर 2023 को एक व्यक्ति ने शिकायत दी कि उसके मोबाइल फोन पर कॉल आई। कॉल करने वाले व्यक्ति ने अपने बेटे को इलाज के लिए हॉस्पिटल में दाखिल करवाने की बात कही। फोनकर्ता ने स्वयं को देवेंद्र बताते हुए उससे 10 हजार रुपए ट्रांसफर करने के लिए कहा। दूसरी तरफ से उसे एक यूपीआई आईडी भेजी। दोस्त के बेटे की हालत खराब समझ कर उसने अपने बैंक अकाउंट से 10 हजार रुपए ट्रांसफर कर दिए। कुछ देर बाद जब उसने अपने दोस्त देवेंद्र को फोन किया तो पता चला कि उसने तो कोई फोन नही किया और न ही कोई पैसों की मांग की। किसी ने विश्वास में लेकर धोखे से रुपए ट्रांसफर कराकर उसके साथ ठगी की है।
मामले की गम्भीरता को देखते हुए साइबर क्राइम की टीम ने जांच शुरू की। जांच के दौरान टीम ने बैंक खाता उपलब्ध कराने वाले चार आरोपियों को काबू किया। आरोपियों की पहचान गुरुग्राम के राठीवास के रहने वाले 25 वर्षीय मोहित राठी, गुरुग्राम के कलवाड़ी के रहने वाले 27 वर्षीय महेश कुमार, उत्तर प्रदेश के रहने वाले 28 वर्षीय विश्वकर्मा मौर्या व मेवात के रहने वाले 22 वर्षीय हयात के रूप में हुई।
गुरुग्राम के एमजी रोड के कोटेक बैंक में थे कार्यरत
चारों गिरफ्तार आरोपियों से पुलिस पूछताछ में ज्ञात हुआ कि मोहित राठी (असिस्टेंट मैनेजर), महेश कुमार (डिप्टी मैनेजर) व विश्वकर्मा मौर्या (डिप्टी मैनेजर) के तौर पर गुरुग्राम में एमजी रोड स्थित कोटेक महिन्द्रा बैंक में कार्यरत हैं। तीनों आरोपी हयात के माध्यम से मेवात में साइबर ठगी के सरगना से मिले थे। इसके बाद ये लगातार साइबर ठगों के सम्पर्क में रहते थे।आरोप है कि ये साइबर ठगी की वारदातों को अंजाम देने में प्रयोग करने के लिए बैंक खाते उपलब्ध कराते थे। इसके बदले साइबर ठगों से ये 15 से 20 हजार रुपए प्रति बैंक खाता उपलब्ध कराने के लेते थे। पहले यह हयात के माध्यम से साइबर ठगों को बैंक खाते उपलब्ध कराते थे और अभी वर्तमान में इनका साइबर ठगों से सीधा सम्पर्क था।
7 महीने में खोले 2 हजार खाते
व्यक्ति ने जिस खाते में 10 हजार रुपए ट्रांसफर कराए थे, वो भी इनके बैंक में खोला गया था। पुलिस के अनुसार आरोपी मोहित राठी, महेश कुमार व विश्वकर्मा मौर्या करीब 7 महीनों से कोटेक महिन्द्रा बैंक में नौकरी कर रहे थे। अब तक ये करीब 2 हजार बैंक खाते खोल चुके थे। क्या यह सभी बैंक खाते फ्रॉड करने के लिए इस्तेमाल हुए हैं या नही, इस संबंध जांच की जा रही है।