Thursday, November 21, 2024
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हरियाणा ने निभाया पड़ौसी का धर्म; राजस्थान को पानी देने के लिए हरियाणा तैयार

-जरूरत पूरी होने के बाद होगी आपूर्ति, हरियाणा राजस्थान के बीच एमओयू साइन

हिन्दुस्तान तहलका / ब्यूरो  

दिल्ली – राजस्थान की पानी की जरूरतों को देखते हुए हरियाणा पड़ौसी का धर्म निभाएगा। दिल्ली में दोनों राज्यों की मीटिंग के दौरान हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्‌टर ने इसके लिए अपनी सहमति जता दी है। केंद्रीय जल शक्ति मंत्री भैरो सिंह शेखावत की मध्यस्थता में हुई मीटिंग में हरियाणा ने तय किया कि, हथनी कुंड से अपनी जरूरत का पानी लेने के बाद एक्स्ट्रा बचे हुए पानी को राजस्थान को दिया जाएगा। पानी की यह आपूर्ति हरियाणा के बॉर्डर इलाके में की जाएगी। इस मीटिंग में राजस्थान के मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा भी मौजूद रहे। दोनों राज्यों के बीच तय हुआ है कि हरियाणा बरसात के दिनों में यमुना का अतिरिक्त पानी राजस्थान को देगा। यमुना का यह पानी राजस्थान को दक्षिण हरियाणा की तरफ से दिया जाएगा और राजस्थान इस पानी का स्टोरेज करेगा ताकि पीने के काम आ सके।

ये हुआ दोनों राज्यों के बीच समझौता

समझौते की बाबत विस्तार से बताते हुए मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने बताया कि हरियाणा यमुना से दिल्ली को उसके हिस्से का पानी पहले हुए समझौते और सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार देता रहेगा। इसमें कोई कटौती नहीं होगी। राजस्थान में पानी की कमी है इसलिए यह राजस्थान के साथ हरियाणा ने यह समझौता किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र के बाद हरियाणा और अब राजस्थान में भाजपा सरकार बनने के बाद वहां के मुख्यमंत्री भजन लाल ने केंद्रीय जल शक्ति मंत्री के माध्यम से यह प्रस्ताव किया गया था।

राजस्थान के तीन जिलों को होगा फायदा

इस प्रस्ताव को हरियाणा ने मान लिया है क्योंकि इसमें हरियाणा को कोई नुकसान नहीं बल्कि फायदा है। बरसात के दिनों में कितना पानी अतिरिक्त होता है और इसे किस माध्यम से राजस्थान भेजा जाएगा इसके लिए दोनों राज्यों के अधिकारी कार्ययोजना तैयार करेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि पश्चिमी यमुना की क्षमता पूरी तरह सुरक्षित रहेगी। गजेंद्र शेखावत ने कहा कि इस समझौते से राजस्थान के सीकर, झुंझनू और चूरू को फायदा होगा जहां पानी की उपलब्धता नहीं है। इन जिलों में पानी देने के लिए एक विस्तृत डीपीआर बनाई जाएगी। इसके लिए समझौता हो गया है।

20 सालों से राजस्थान दे रहा सुझाव

हथिनी कुंड बैराज पर पानी रोकने की क्षमता से अधिक पानी को राजस्थान को दिया जाएगा। पिछले 20 साल से यह सुझाव राजस्थान की तरफ से दिया जा रहा था लेकिन किसी ने इस पर पहल नहीं की। अब उन्हें प्रसन्नता है कि राजस्थान और हरियाणा के सीएम ने इस पर काम शुरू कर दिया है। अब एमओयू होने के बाद हथिनी कुंड बैराज से चार पाइप लाइनें निकाली जाएंगी, तीन लाइन राजस्थान जाएगी और एक पाइपलाइन हरियाणा के लिए होगी।

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