हिन्दुस्तान तहलका / अंकित मंगला
तावडू – शहर में संत गुरू रविदास जयंती धूमधाम से मनाई गईं। इस दौरान पटौदी रोड़ पर स्थित भीमराव अम्बेडकर भवन में भंडारे का आयोजन किया गया। साथ ही झांकियां निकाली गई। झांकी की शुरुआत भीमराव अंबेडकर भवन से शुरू कर शहर के मुख्य मार्गों से होती हुई पुनः अंबेडकर भवन पहुंची। इस दौरान सोहना तावडू विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के प्रबल दावेदार महेश चौहान कार्यक्रम स्थल पर पहुंच गुरु रविदास को नमन कर श्रद्धा सुमन पुष्प अर्पित किए।
महेश चौहान ने कार्यक्रम में शामिल लोगों को संबोधित करते हुए कहा की रविदास द्वारा 15 वीं शताब्दी में चलाया गया भक्ति आंदोलन उस समय का एक बड़ा आध्यात्मिक आंदोलन साबित हुआ। इस आंदोलन ने समाज में कई बड़े बदलाव लाने का काम किया। उन्होंने अपने जीवन में कई गीत, दोहे और भजनों की रचना की जो मानव जाति को आत्मनिर्भरता, सहिष्णुता और एकता का संदेश देने का काम करते हैं।इन्होंने समाज से जातिवाद, भेदभाव और सामाजिक असमानता के भाव को हटाकर भाईचारे और सहिष्णुता का भाव अपनाने के संदेश दिया। गुरु रविदास ने शिक्षा पर विशेष जोर दिया। प्रसिद्ध संत मीराबाई भी रविदास को अपना आध्यात्मिक गुरु मानती थीं।
सिर्फ हिंदू धर्म के ही नहीं, बल्कि सिख धर्म को मानने वाले लोग भी गुरु रविदास के प्रति श्रद्धा भाव रखते हैं। इस बात का पता इसी से लगाया जा सकता है कि रविदास की 41 कविताओं को सिखों के पवित्र ग्रंथ यानी गुरुग्रंथ साहिब में शामिल किया गया है।